शिवपुरी। हर साल की तरह इस साल भी अगस्त माह का पहला सप्ताह ’विश्व स्तनपान सप्ताह’ के रूप में मनाया जाएगा। इस दौरान जिले में प्रसूता एवं शिशुवती महिलाओं के बीच स्तनपान को बढ़ावा देने, शिशुओं एवं नन्हें बच्चों को बीमारी और कुपोषण से बचाने और शिशु मृत्यु दर में कमी लाने का प्रयास किया जाएगा। इसके लिए शक्तिशाली महिला संगठन, ब्रिटानिया न्यूट्रीशन फाउंडेशन, स्वास्थ्य और महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा संयुक्त रूप आगनवाड़ी कार्यकर्ता एवं आशाओं को एक से 7 अगस्त तक आयोजित होने वाले स्तनपान सप्ताह के बारे में जागरूक किया। इसमें जन जागरुकता के कई कार्यक्रम आयोजित किये जाएंगे। इस दौरान शक्तिशाली महिला संगठन द्वारा आंगनबाड़ी केन्द्रों में स्वस्थ शिशु का चयन कर उनकी माताओं को पुरस्कृत भी किया जाएगा। अधिक जानकारी देते हुए प्रोग्राम समन्वयक रवि गोयल ने बताया कि विश्व स्तनपान सप्ताह 2022 की थीम- ’ स्तनपान शिक्षा और सहायता के लिए कदम बढ़ाएं’ है। इसके तहत एएनएम ट्रेनिंग सेंटर में आशा कारकर्ताओं एवं आगनवाड़ी कार्यकर्ताऑ को प्रशिक्षित किया जिसमे प्रथम सत्र में डीपीओ डी.के.सुंदरियाल ने कहा कि विश्व स्तनपान सप्ताह का उद्देश्य प्रसूता एवं शिशुवती महिलाओं के बीच स्तनपान के लिए जागरुकता बढ़ाना है, क्योंकि यह बच्चों के साथ साथ माताओं के स्वास्थ्य के लिए भी जरूरी है। बच्चे के अच्छे स्वास्थ्य हेतु स्तनपान की जिम्मेदारी माता के साथ साथ परिवार एवं मुख्य रूप से पिता की भी होती है। पिता द्वारा बच्चे की माता की देखभाल करना, माता को बच्चे के साथ अधिक समय व्यतीत करने व उचित तरीके से स्तनपान कराने हेतु प्रोत्साहित करना आदि तरीके से महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
मुख्यवक्ता डॉ. पवन जैन ने आशा कार्यकर्ताओ को सम्बोधित करते हुए निर्देशित किया कि आप चाहो तो जन्म के तुरंत बाद बच्चे को पहला पीला गाढ़ा दूध जिसको कोलोस्ट्रम भी कहते है इसको शत प्रतिशत कर सकती हो आपको सिर्फ ये करना है को गर्भ धारण करने वाली माताओं को शुरू से इस बात के लिए जागरूक करना है। जन्म के तुरंत बाद स्तनपान, 6 माह तक केवल स्तनपान एवं 6 माह के बाद ऊपरी आहार की शुरुआत कराए बच्चे को रोगों से बचाए।
सप्ताह के दौरान स्तनपान का महत्व लोगों तक पहुंचाने के लिए जिला, विकासखण्ड एवं ग्राम स्तर पर कार्यशाला, प्रदर्शनी, फिल्म शो, परिचर्चा जैसे विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। जिसमें शक्तिशाली महिला संगठन, महिला एवं बाल विकास और स्वास्थ्य विभाग के मैदानी अमले के साथ जनप्रतिनिधि सहित महिला समूह और अधिक से अधिक महिलाओं को शामिल किया जाएगा।
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