करैरा। अश्विन मास शुक्ल पक्ष के नवरात्रि में किया जाने वाला अष्टमी व्रत को लेकर इस बार संसय की स्थीति है क्यो की अष्टमी और नवमी दोनो तिथियां एक ही दिन हो रही है।
11/10/2024 दिन शुक्रवार को किया जाएगा। चूंकि अष्टमी तिथि 10/10/2024 को ही लग जा रही है, लेकिन पहले सप्तमी तिथि 3 : 11 घटी यानी प्रातः 7:25 मिनट तक है उसके बाद अष्टमी प्रारंभ है जो अगले दिन यानी 11/10/2024 को
1:37 घटी यानी प्रातः 6:52 पर समाप्त है। उसके पश्चात नवमी तिथि प्रारम्भ हो रही है जो रात्रि शेष 5:57 तक है तथा तिथि क्षय होने के कारण अगले दिन सूर्योदय से स्पर्श नहीं करती है ।निशिथकाल मध्यरात्रि की पूजा बलिदान आदि का कार्य 10/10/2024 दिन गुरुवार की रात्रि सप्तमी युक्त अष्टमी में महानिशा पूजा होगी ।
” निर्णय सिंधु” के अनुसार
महाष्टमी घटिकामात्राप्यौदयिकी नवमी युक्ता ग्राह्या। सप्तमी स्वल्पयुता सर्वथा त्याज्या । सप्तमीयुताष्टम्यां अत्रोपवास: पुत्रवतो निषिद्ध:।।
यानी ,अष्टमी तिथि नवमी उदयकाल में ग्राह्य है ,
सप्तमी तिथि युक्त अष्टमी संतान वालों के लिए सर्वथा त्याज्य है।
अत: दिनांक 11/10/2024 दिन शुक्रवार को हीं महाष्टमी एवं महानवमी व्रत किया जाएगा। उसी दिन प्रात: से हवन आदि कार्य होगा।
12/10/2024 दिन शनिवार को दशमी तिथि में अष्टमी नवमी एवं नौ दिन तक व्रत रहने वाले पारण करेंगे।
नवरात्र प्रदीप,राज मार्तंड ,देवल,स्मृति संग्रह, निर्णय सिंधु, देवी भागवत जी ,अन्यय ग्रंथो एवं गुरुजनो के मतानुसार अष्टमी व्रत दिनाक 11 अक्टूम्बर 2024 को श्रेष्ट है ।
पंडित आचार्य अरविंद कृष्ण शास्त्री,कामाख्या कॉलोनी करेरा 9993400581